ज़िगज़ैग भट्ठे के लिए ईंटों की चिनाई द्वारा बनी चिमनी के निर्माण का अच्छा तरीका क्या हैं?
एक ज़िगज़ैग भट्ठे (इनड्यूज्ड ड्राफ्ट ज़िगज़ैग भट्ठे [आईडीजेडके] अथवा नेचुरल ड्राफ्ट ज़िगज़ैग भट्ठे [एनडीजेडके] ) के प्रमुख भाग (घटक) हैं:
चिमनी
हवा खींचने वाला पंखा ( एक आईडीजेडके में )
गर्म हवा की नालियां (डक्ट)
सेन्ट्रल आइलैंड (मियाना)
बाहरी दीवार
विकेट गेट्स (घाटी)
भट्ठे के कुशल कामकाज के लिए इन घटकों के निर्माण की गुणवत्ता का अच्छा होना जरूरी है. एक ज़िगज़ैग भट्ठे (आईडीजेडके अथवा एनडीजेडके) के लिए ईंटों की चिनाई से बनी चिमनी बनाने के सर्वोत्तम तरीकों के बारे में नीचे चर्चा की गयी हैं.
एक एनडीजेके में, चिमनी भट्ठे के भीतर मियाने के केंद्र में बनायीं जाती है. एक आईडीजेके में, चिमनी या तो भट्ठे के भीतर मियाने के केंद्र में, या भट्ठा क्षेत्र के बाहर बनायी जाती है. चिमनी की आकृति गोलाकार या आयताकार हो सकती है. चिमनी के मुख्य भाग (a) नींव और (b) दीवार हैं. नींव की गहराई, चिमनी की दीवार की मोटाई, और निर्माण विशेषताएं चिमनी की आकृति और आकार पर निर्भर करती हैं. चिमनी की स्वतंत्र संरचना को अपने खुद के भार के अलग हवा के भार, भूकंप के भार, और तापमान के भार जैसे विभिन्न भारों को झेल सकने के लिए डिज़ाइन किया जाना चाहिए।
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चिमनी की नींव के निर्माण के बेहतर तरीके क्या हैं?
चिमनी का डिजाइन एक योग्य स्ट्रक्चरल इंजीनियर की सलाह से किया जाना चाहिए. हालांकि, फिल्ड में गौर किये गए सर्वोत्तम तरीकों के आधार पर कुछ सामान्य दिशानिर्देश नीचे सूचीबद्ध हैं.
नींव के गड्ढे की गहराई को ट्रेंच के फर्श के स्तर (ट्रेंच के स्तर) से कम से कम 5 फीट रखा जाता है ।
नींव के गड्ढे का तल ठोस और समान रूप से समतल किया जाता है.
नदी की रेत की एक परत गड्ढ़े के तल पर फैलाई जाती है. रेत की परत के ऊपर सादे सीमेंट कंक्रीट (पीसीसी), रीइन्फोर्सड सीमेंट कंक्रीट (आरसीसी), और मोर्टार और ईंट के टुकड़ों के मिश्रण की परतों को एक दूसरे के ऊपर अनुक्रम में रखा जाता है.
चिमनी की दीवारों के आधार को ‘मोर्टार और ईंट के टुकड़े’ की परत के शीर्ष से ट्रेंच के तल तक (सीढ़ीदार) बनाया जाता है. नींव के निर्माण के लिए उच्च गुणवत्ता (भार सहने की अच्छी क्षमता) की क्लास-1 ईंटों का उपयोग किया जाता है.
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चिमनी स्ट्रक्चर के निर्माण के बेहतर तरीके क्या हैं?
एक चिमनी के विभिन्न घटक
चिमनी स्ट्रक्चर के निर्माण के बेहतर तरीकों को नीचे सूचीबद्ध किया गया है.
निर्माण के लिए ट्रेंच के तल से, कम से कम 50 फीट की ऊंचाई तक, अच्छी गुणवत्ता वाली क्लास-1 ईंटों का उपयोग किया जाता है.
मिट्टी के मोर्टार (गारे) का उपयोग किया जाता है. मोर्टार को उपयोग करने से कम से कम 2-3 दिन पहले तैयार किया जाना चाहिए. और गारा एक समान पेस्ट के रूप में होना चाहिए (टूथपेस्ट जैसा). ईंटों को जोड़ने के लिए गारे की केवल एक पतली परत ही लगानी चाहिए.
चिमनी में नियमित ऊंचाई के अंतर पर आरसीसी कंक्रीट बैंड लगाए जाते हैं.
चिमनी के अंदर बाहरी हवा के रिसाव की सम्भावना को ख़तम करने के लिए चिमनी की दीवार की भीतरी सतह को मिट्टी के मोर्टार और बाहरी सतह को सीमेंट मोर्टार से पलस्तर किया जाता है.
वायु प्रदूषण की जांच के लिए, चार सैम्पलिंग पोर्ट जो चार दिशाओं में होते हैं लगाए जाते हैं.
सैम्पलिंग पोर्ट आमतौर पर लगभग 4-इंच आंतरिक व्यास की पाइप के रूप में होता है. पाइप चिमनी की बाहरी दीवार से लगभग 6 इंच बाहर निकला हुआ होता है. जब उपयोग में न हो तो पोर्ट को बंद करने के लिए एक आसानी से हटाया जा सकने वाला ढक्कन लगाया जाता है.
पोर्ट तक पहुँचने के लिए, चिमनी के चारों ओर प्लेटफ़ॉर्म बनाया जाता है. प्लेटफ़ॉर्म की न्यूनतम चौड़ाई 4 फुट होनी चाहिए. प्लेटफ़ॉर्म की सतह से पोर्ट की ऊंचाई 3 से 4 फीट के बीच होनी चाहिए.
सुरक्षा के लिए, प्लेटफ़ॉर्म के चारों तरफ एक मजबूत रेलिंग बनायी जाती है. प्लेटफ़ॉर्म को मजबूत होना चाहिए और लगभग 500 किलोग्राम वजन (2-4 व्यक्तियों + जांच उपकरणों के वजन) उठा सकने योग्य होना चाहिए.
प्लेटफ़ॉर्म तक पहुँचने के लिए पिंजड़ेनुमा सीढ़ी लगाई जाती है.
पावर सप्लाई पॉइंट्स (220 V, 15 A, ग्राउंड आउटलेट वाला एकल फेज एसी सर्किट) प्लेटफ़ॉर्म और चिमनी के आधार पर लगाए जाते हैं.
बिजली गिरने की वजह से संरचनात्मक क्षति या बिजली के झटके से बचाने के लिए चिमनी पर बिजली संरक्षण प्रणाली और अर्थिंग स्थापित की जाती है.
चिमनी बनाते वक़्त बांसों को फंसाने के लिए चिमनी की दीवारों पर बनाए गए छेदों को ईंटों और मोर्टार से ठीक से बंद किया जाता है.
इनड्यूज्ड ड्राफ्ट ज़िगज़ैग भट्ठे में पंखा कैसे लगाया जाता है?
चिमनी के तल में लगा हुआ पंखा
एक आईडीजेडके में ड्राफ्ट बनाने के लिए केन्द्रीय नाली (डक्ट) और चिमनी के बीच में हवा खींचने वाला पंखा लगाया जाता है. पंखा एक इनलेट डक्ट से केन्द्रीय नाली से हवा खींचता है तथा आउटलेट डक्ट से हवा को चिमनी तक पहुंचाता है. आउटलेट डक्ट का क्षेत्रफल पंखे के आउटलेट से चिमनी तक फैलाव लिए होना चाहिए. इससे चिमनी में गर्म गैसों के अचानक फैलाव से होने वाले ऊर्जा के नुक्सान को कम करने में मदद मिलती है
ज़िगज़ैग भट्ठों के लिए न्यूनतम चिमनी की ऊंचाई क्या है?
पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय के पर्यावरण (संरक्षण) नियम, 2009 के अनुसार, न्यूनतम चिमनी की ऊंचाई नीचे दी गई है –
वर्ग
प्रतिदिन ईंट का उत्पादन
ट्रेंच की चौड़ाई मीटर में
न्यूनतम चिमनी की ऊंचाई मीटर में
नेचुरल ड्राफ्ट
पंखे से युक्त न्यूनतम 50 मि.मी वाटर गॉज़ ड्राफ्ट के साथ प्रचलित